मिथिला में कृष्णाष्टमी के साथ दुर्गापूजा मनाने की भी परम्परा रही है। शुम्भ और निशुम्भ का संहार करनेवाली देवी इसी रात्रि यशोदा के गर्भ से उत्पन्न हुई थी।Continue Reading